फरीदाबाद, (सरूप सिंह)। एसजीएम नगर निवासी एवं Senior Journalist late. Bhagwat Dayal Kaushik का शनिवार सुबह आकस्मिक निधन हो गया। वह 57 वर्ष के थे। परिजनों ने उन्हें शुक्रवार को बीपी लो होने पर एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया था। जहां शनिवार सुबह करीब चार बजे उन्होंने अंतिम सांस ली। उनके आकस्किम निधन की सूचना से मीडिया जगत में शोक की लहर दौड़ गयी।
पटेल चौक स्थित श्मशान स्थल पर उनका अंतिम संस्कार किया गया। जिसमें प्रदेश के परिवहन एवं उच्च शिक्षा मंत्री मूलचंद शर्मा, बीजेपी के जिला अध्यक्ष गोपाल शर्मा, विधायक सीमा त्रिखा के पति एडवोकेट अश्विनी त्रिखा भाजपा नेता अनीता शर्मा समेत अन्य राजनीतिक दलों के पदाधिकारी, सामाजिक संस्थाओं के पदाधिकारी और जिले के पत्रकार शामिल हुए।
57 वर्षीय वरिष्ठ पत्रकार भगवत दयाल कौशिक मूल रूप से कुरुक्षेत्र स्थित तहसील लाडवा के गांव सूरा के रहने वाले थे। कौशिक करीब 35 साल पहले फरीदाबाद आए व फरीदाबाद को अपनी कर्मभूमि बना लिया। स्वर्गीय भगवत दयाल कौशिक अपने परिवार जिसमें उनकी धर्मपत्नी मधु कौशिक, बेटी निहारिका, बेटा कार्तिक व सबसे छोटी बेटी करुणा के साथ फरीदाबाद के एसजीएम नगर स्थित जी ब्लॉक में रह रहे थे।
उन्होंने अपने जीवन काल में गुड़गांव टुडे, मातृभूमि संदेश अखबार में काम किया और वह हरियाणा मीडिया वेलफेयर क्लब में जिला महासचिव के पद पर कार्यरत थे। कॉविड की दूसरी लहर में वह अपना पत्रकारिता का धर्म निभाते हुए कार्य करते हुए कोरोना की जैसी घातक बीमारी की चपेट में आए परंतु अपने बुलंद होंसले के साथ कोविड जैसी बीमारी को मात देकर जीत हासिल की।
10 अप्रैल 2023 को उनकी तबीयत अचानक खराब हो गई बाद में इलाज के बाद वह ठीक हो गए थे। शुक्रवार को अचानक श्री कौशिक का बीपी कम हो गया और शरीर ने काम करना बंद कर दिया उन्हें तत्काल फोर्टिस हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया जहां उनको वेंटिलेटर पर रखा गया। आज 15 अप्रैल प्रातः करीब 4 बजे उन्होंने अपनी आखिरी साँसे ली। जिसके बाद उनका अंतिम संस्कार पटेल चौक के शमशान घाट पर किया गया।
प्रदेश के परिवहन मंत्री मूलचंद शर्मा, ने कौशिक के निधन को मीडिया जगत की अपूर्णीय क्षति बताई। उन्होंने कहा कि स्वर्गीय बी.डी कौशिक योग्य, सुशील और निष्पक्ष पत्रकारिता के पक्षधर थे। उन्होंने हमेशा सरकार की नीतियों को जन-जन तक पहुंचाने में योगदान दिया। उनका असमय जाना फरीदाबाद मीडिया के लिए बेहद दुख दाई है। मेरी ईश्वर से कामना है की इस कठिन परिस्थिति में उनके परिजनों को दुख सहने की क्षमता प्रदान करें।